उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में मौसम बिगड़ा रहेगा। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार पहाड़ी जिलों में आज गर्जना के साथ बारिश और ओलावृष्टि होने के आसार हैं। साथ ही 50 से 60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं।
वहीं, राजधानी दून में अगले दो दिन तक बारिश का अनुमान है। मौसम विभाग की ओर से इसको लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। बृहस्पतिवार को दून का अधिकतम तापमान 37 डिग्री और न्यूनतम 22 डिग्री सेल्सियस रहा सकता है।
बारिश ने दी गर्मी से राहत-
वहीं, बुधवार देर शाम को चली ठंडी हवाओं के बाद जमकर बारिश हुई। इससे मौसम सुहाना हो गया। ऐसे में गर्मी झेल रहे प्रदेशवासियों ने राहत महसूस की। जिससे तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई।
उत्तरकाशी-टिहरी जनपद की सीमा पर करीब 14500 फीट की ऊंचाई पर स्थित सहस्त्रताल ट्रैक पर गए 22 सदस्यीय दल में से नौ ट्रैकर्स की मौत हो गई। दस ट्रैकर्स को सुरक्षित वापस लाया जा चुका है। वर्ष 2022 में हुए निम के द्रौपदी का डांडा हिमस्खलन हादसे के बाद यह दूसरा बड़ा हादसा है।
चार अक्तूबर 2022 को निम के इतिहास में वह तारीख है जिसने निम प्रबंधन को कभी न भूलने वाला गम दिया। हादसे में निम के 34 प्रशिक्षुओं का दल द्रौपदी का डांडा-2 चोटी आरोहण के दौरान हिमस्खलन की चपेट में आ गया था जिसमें कुल 27 लोगों की मौत हो गई थी। वहीं दो लोग अब भी लापता चल रहे हैं।
इनमें उत्तराखंड से नौसेना में नाविक विनय पंवार व हिमाचल निवासी लेफ्टिनेंट कर्नल दीपक वशिष्ट शामिल थे। हालांकि उस दौरान निम के साथ एसडीआरएफ की टीम ने दोनों लापता लोगों की खोजबीन के लिए माइनस 25 डिग्री तापमान में भी विशेष अभियान चलाया।
अब एक और हादसे के खबर उत्तरकाशी-टिहरी जनपद की सीमा पर करीब 14500 फीट की ऊंचाई पर स्थित सहस्त्रताल ट्रैक से आई।
कल मंगलवार को चार ट्रैकर की ठंड लगने से मौत हो गई। वहीं आज पांच ट्रैकर्स की और मौत हो गई। दस ट्रैकर्स को सुरक्षित लाया जा चुका है। मौसम खराब होने के कारण ट्रैकर्स रास्ता भटक गए थे। जिले की ट्रैकिंग एजेंसियों के माध्यम से जिला आपदा प्रबंधन को इसकी सूचना मिली। जिससे विभाग ने रेस्क्यू के लिए कार्रवाई शुरू कर दी है।
29 मई को एक 22 सदस्यीय दल मल्ला-सिल्ला से कुश कुल्याण बुग्याल होते हुए सहस्त्रताल की ट्रैकिंग के लिए निकला था। दो जून को यह दल सहस्त्रताल के कोखली टॉप बेस कैंप पहुंचा।
तीन जून को वह सहस्त्रताल के लिए रवाना हुए। वहां अचानक मौसम खराब होने, घने कोहरे और बर्फबारी के बीच ट्रैकर फंस गतए। पूरी रात उन्हें ठंड में बितानी पड़ी। ट्रैकर्स में से किसी ने इसकी सूचना दल को ले जाने वाली गढ़वाल माउंटनेरिंग एवं ट्रैकिंग एजेंसी के मालिक को दी। बताया कि ठंड लगने से चार ट्रैकर की मौत हो गई है जबकि सात की तबीयत खराब है और 11 वहां फंसे हुए हैं।
चारधाम यात्रा को 24 दिन का समय पूरा हो गया है। लेकिन धामों में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ कम नहीं हुई है। चारधाम यात्रा प्रशासन की रिपोर्ट के अनुसार अब तक 15.67 लाख श्रद्धालु चार धामों व हेमकुंड साहिब में दर्शन कर चुके हैं। यात्रा के शुरुआती 10 दिन में जहां दर्शन करने वालों की संख्या 5.69 लाख से अधिक थी।
वहीं 14 दिन में 9.97 लाख से ज्यादा ने दर्शन किए हैं। इस बार चारधाम यात्रा 10 मई और हेमकुंड साहिब की यात्रा 25 मई से शुरू हुई। चारधाम यात्रा के शुरुआती 10 दिन में केदारनाथ, बद्रीनाथ, गंगोत्री व यमुनोत्री धाम में 5.69 लाख अधिक श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।
धामों में दर्शन के लिए भीड़ बढ़ने और यात्रा मार्गों पर घंटों जाम लगने से सरकार व प्रशासन को काफी मशक्कत करनी पड़ी। भीड़ नियंत्रित करने के लिए सरकार ने ऑफलाइन पंजीकरण पर भी रोक लगाई थी। एक जून से फिर से आफलाइन पंजीकरण खोल दिए गए। यात्रा मार्गों में अब जाम की पहली जैसी स्थिति नहीं है। लेकिन धामों में दर्शन के लिए काफी भीड़ है।
चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप में काउंटर पर ऑफलाइन पंजीकरण आज एक जून से शुरू हो गए हैं। हरिद्वार में चार धाम यात्रा के पंजीकरण केंद्र पर 12 बजे से पहले ही स्लॉट खत्म होते ही सुबह से खड़े यात्रियों ने जमकर हंगामा कर दिया। हंगामा इस कदर बढ़ गया कि यात्रियों को समझाने के लिए पुलिस को मौके पर आना पड़ा।
धामों में भीड़ बढ़ने से प्रशासन ने 13 मई को ट्रांजिट कैंप में ऑफलाइन पंजीकरण पर रोक लगा दी थी। इसके बाद 15-16 मई को पंजीकरण पर रोक जारी रही। बाद में यह तिथि 19 मई फिर 31 मई तक बढ़ा दी गई। इससे तीर्थयात्रियों को ऋषिकेश स्थित ट्रांजिट कैंप में पंजीकरण के लिए 12-12 दिन इंतजार करना पड़ा। कई तीर्थयात्री अपने घरों को लौट गए थे।
23 मई से प्रशासन ने अस्थायी पंजीकरण की व्यवस्था की है। अस्थायी पंजीकरण का कोटा 1,000 से कई बार में बढ़ाकर वर्तमान में 4,500 है। शुक्रवार को भी तीर्थयात्रियों से अस्थायी पंजीकरण के फॉर्म जमा करवाए गए। उधर, चार धाम यात्रा प्रशासन के ओएसडी नरेंद्र सिंह क्वीरियाल ने बताया, शनिवार से ट्रांजिट कैंप में चारधाम की यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों का काउंटर पर ऑफलाइन पंजीकरण किया जाएगा।
प्रदेश सरकार ने चारधाम यात्रा के लिए ऋषिकेश और हरिद्वार में ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन खोल दिए हैं। शनिवार से एक दिन में 3000 श्रद्धालुओं के ऑफलाइन पंजीकरण होंगे। सरकार ने यह निर्णय गढ़वाल आयुक्त और आईजी गढ़वाल के स्थलीय निरीक्षण के बाद लिया है।
शुरुआत में ऋषिकेश में 1000 और हरिद्वार में 500 श्रद्धालुओं के ऑफलाइन पंजीकरण किए गए। लेकिन धामों पर श्रद्धालुओं की भीड़ जुटने से सरकार को ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन पर रोक लगानी पड़ी। रोक की अवधि को 31 मई तक बढ़ाया गया। साथ ही गढ़वाल आयुक्त और आईजी गढ़वाल को निर्देश दिए गए कि वे वास्तविक स्थिति का निरीक्षण करने के बाद बताएं कि ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन खोले जाएं या नहीं।
अब केदारनाथ पहुंचने वाले VVIP के साथ ही बुजुर्ग श्रद्धालु एसयूवी की सवारी का आनंद ले सकेंगे। इस वाहन का उपयोग मेडिकल इमरजेंसी में भी किया जाएगा। बीते वर्ष पर्यटन विभाग ने यात्रा काल में केदारनाथ के लिए दो एसयूवी खरीद का प्रस्ताव शासन को भेजा था।
वायुसेना के चिनूक हेलिकॉप्टर से शुक्रवार को यह एसयूवी धाम पहुंचाई गई। हेलीपैड पर लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता विनय झिंक्वाण, सेक्टर मजिस्ट्रेट व अन्य अधिकारी मौजूद थे। हेलीपैड पर उतरने के बाद चालक गाड़ी को लेकर सरस्वती नदी किनारे बने आस्था पथ से वीआईपी हेलीपैड मार्ग के रास्ते मंदर के समीप तक लाया।
ढोल-दमाऊ और फूलों से हुआ एसयूवी का स्वागत-
यहां पर यात्रा ड्यूटी पर तैनात कार्मिकों, तीर्थ पुरोहित व अन्य ने ढोल-दमाऊ व फूलों से एसयूवी का स्वागत किया गया। विनय झिंक्वाण ने बताया, केदारनाथ के लिए बीते वर्ष पर्यटन विभाग ने दो एसयूवी का प्रस्ताव शासन को भेजा था। अब वाहनों की स्वीकृति मिलने के साथ पहला वाहन चिनूक से धाम पहुंच चुका है। दूसरा वाहन भी जल्द धाम पहुंचा दिया जाएगा।
बताया, यात्रा काल में धाम पहुंचने वाले वीआईपी इस वाहन से केदारपुरी का भ्रमण कर सकेंगे। साथ ही हेलीपैड से बुजुर्ग और दिव्यांग श्रद्धालुओं को मंदिर तक पहुंचाने में मदद मिलेगी। यात्रा काल में किसी यात्री या अन्य के बीमार या घायल होने पर उसे हेलीपैड तक पहुंचाने में भी एसयूवी का उपयोग किया जाएगा।
उत्तराखंड प्रदेश में जुलाई के माह में बिजली का बिल महंगा आएगा। फ्यूल और पावर परचेज कॉस्ट एडजस्टमेंट (एफपीपीसीए) के तहत उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग ने उपभोक्ताओं से 14 करोड़ 21 लाख रुपये वसूली की अनुमति दे दी है।
दरअसल, केंद्र के नियमों के तहत अब यूपीसीएल निर्धारित मूल्य के सापेक्ष जिस दर पर बिजली खरीदता है, उसकी वसूली उपभोक्ताओं से की जाती है। यूपीसीएल ने नियामक आयोग में एक याचिका दायर की थी, जिसमें बताया गया था कि दिसंबर, जनवरी और फरवरी की तिमाही में यूपीसीएल ने जो बिजली खरीदी है, उसका 14 करोड़ 21 लाख रुपये बकाया है।
यूपीसीएल ने आयोग से इस रकम की वसूली की मांग की थी। आयोग अध्यक्ष एमएल प्रसाद ने एफपीपीसीए नियमों के तहत इस रकम को जुलाई माह के बिल में वसूली करने की अनुमति दे दी है। साथ ही ये भी निर्देश दिए कि इसका रिकॉर्ड अलग से मेंटेन रखा जाए। इस रकम के हिसाब से प्रति उपभोक्ता जुलाई के बिल में चार पैसे प्रति यूनिट की बढ़ोतरी हो जाएगी।
बिजली की मांग ने तोड़े रिकॉर्ड, 6.2 करोड़ पहुंची-
प्रदेश में बिजली की मांग ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। बृहस्पतिवार को मांग 6.2 करोड़ यूनिट पर पहुंच गई। यूपीसीएल के निदेशक परिचालन एमआर आर्य ने बताया, इतनी मांग के सापेक्ष पूरी उपलब्धता है। कहीं भी बिजली की किल्लत की वजह से कटौती नहीं की जा रही है। बताया, चारधाम यात्रा के मद्देनजर सुचारू विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है। उन्होंने उपभोक्ताओं से अपील की कि प्रदेश हित में वे बिजली बचाएं।
हर नए महीने में कई वित्तीय नियमों में बदलाव किया जाता है। एक जून 2024 से भी नियमों में बदलाव हो होने वाला है। चिलचिलाती गर्मी के बीच जून महीने में रसोई गैस सिलेंडर, बैंकों की छुट्टियां, आधार कार्ड में अपडेट और ड्राइविंग लाइसेंस से जुड़े नियमों में परिवर्तन होने वाले हैं। इन बदलावों का सीधा असर आम आदमी की जेब पर पड़ने वाला है। आइए जानते हैं 1 जून से कौन-कौन से नियम बदलने वाले हैं?
एलपीजी सिलेंडर समेत अन्य पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों में हो सकता है बदलाव-
हर महीने की पहली तारीख को रसोई गैस सिलेंडर समेत अन्य पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतें नए सिरे से तय की जाती हैं। पेट्रोलियम कंपनियां इसका एलान महीने के आखिरी दिन मध्यरात्रि को करती हैं। ऐसे में उम्मीद है कि 1 जून 2024 को पेट्रोलियम कंपनियां एलपीजी समेत पेट्रोल डीजल की कीमतों में बदलाव कर सकती है। इससें पहले मई में, पेट्रोलियम कंपनियों ने वाणिज्यिक (कमर्शियल) सिलेंडरों की कीमतों में कटौती की थी। जून में भी सिलेंडर की कीमतों में परिवर्तन हो जाए तो इसमें कोई आश्चर्य की बात नहीं होगी। एक जून से लंबे समय से स्थिर रहे पेट्रोल डीजल की कीमतों में भी बदलाव दिख सकता है। हालांकि कीमतें बदलेंगी या नहीं इस पर स्थिति 31 मई 2024 की मध्य रात्रि तक ही साफ हो सकेंगी।
ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आरटीओ का चक्कर लगाने से मिलेगी निजात-
1 जून से नए परिवहन नियम लागू हो रहे हैं। नए महीने से ड्राइविंग लाइसेंस हासिल करने के लिए आरटीओ में ही टेस्ट देना अनिवार्य नहीं रह जाएगा। ऐसे में ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट पास करने की प्रक्रिया अब आसान होने की उम्मीद है। एक जून से आप सरकार की ओर से मान्यता प्राप्त निजी संस्थानों में भी ड्राइविंग टेस्ट दे सकते हैं। इससे लोगों को ड्राइविंग लाइसेंस का टेस्ट देने के लिए आरटीओ का चक्कर लगाने से निजात मिल जाएगी।
ट्रैफिक नियम होंगे सख्त-
नए यातायात नियमों के तहत ट्रैफिक नियमों को और कड़ा किया जा रहा है। 18 साल से कम उम्र के लोगों पर ट्रैफिक नियम के उल्लंघन करने या उनके वाहन चलाने पर 25 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है। ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने पर लाइसेंस रद्द तो किया ही जाएगा इसके साथ-साथ 25 साल तक नया लाइसेंस भी जारी नहीं किया जाएगा। अन्य यातायात नियमों के उल्लंघन पर जुर्माने का भी प्रावधान किया गया है।तेज़ गति से गाड़ी चलाने वाले पर 1000 रुपये से 2000 रुपये, बिना लाइसेंस गाड़ी चलाने पर 500 रुपये, हेलमेट न पहनने पर 100 रुपये और सीट बेल्ट नहीं पहनने पर 100 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा।
14 जून तक मुफ्त में कर सकेंगे आधार अपडेट-
यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया यानी यूआईडीएआई के अनुसार, अगर आपने 10 साल से अपना आधार कार्ड अपडेट नहीं किया है तो 14 जून तक आप ऐसा फ्री में कर सकते हैं। यूआईडीएआई पोर्टल पर 14 जून 2024 तक आधार कार्ड अपडेट करने की प्रक्रिया मुफ्त है। अगर आप 14 जून के बाद अपना आधार कार्ड अपडेट करवाते हैं तो आपको इसके लिए कुछ शुल्क चुकाना पड़ सकता है। आप अपने आधार कार्ड को घर बैठे या आधार कार्ड सेंटर पर जाकर भी अपडेट करवा सकते हैं। अगर आप आधार कार्ड केंद्र पर जाकर अपना आधार कार्ड अपडेट करवाते हैं तो आपको 50 रुपये शुल्क के तौर पर चुकाना होगा। वहीं, यूआईडीएआई पोर्टल पर जाकर खुद से आधार कार्ड अपडेट करने पर फिलहाल कोई शुल्क नहीं चुकाना पड़ता है।
जून महीने में 14 दिन बंद रहेंगे बैंक-
जून महीने में बकरीद, वट सावित्री व्रत समेत अलग-अलग पर्व त्योहारों के मौके पर सार्वजनिक और साप्ताहिक छुट्टियां के चलते कई दिन बैंक बंद रहने वाले हैं। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की आधिकारिक वेबसाइट पर दी गई जानकारी के मुताबिक, जून में कुल 12 दिन बैंक शाखाएं बंद रहेंगी। लोकसभा चुनाव के सातवें चरण के मतदान के कारण जून महीने की पहली तारीख को भी कई राज्यों के कुछ क्षेत्रों में बैंक शाखाएं बंद रहेंगी। बैंक शाखाएं बंद रहने के दौरान आप बैंक जाकर कोई भी सेवा हासिल नहीं कर सकेंगे। ऐसे में आप अपने बैंकिंग से जुड़े कार्यों को बैंकों की छुट्टियों को देखते हुए प्लान करें यही बेहतर रहेगा।
पैन-आधार लिंक नहीं किया तो होगी ये परेशानी-
आयकर विभाग ने हाल में एक अधिसूचना में कर दाताओं को अपने स्थायी खाता संख्या (पैन) को 31 मई तक आधार के साथ जोड़ने के लिए कहा है ताकि उच्च दर पर कर कटौती से बचा जा सके।मौजूदा नियमों के अनुसार यदि करदाता का पैन उसके आधार से नहीं जुड़ा है, तो स्रोत पर कर कटौती (टीडीएस) को एक जून से सामान्य दर से दोगुनी दर से काटा जाना अनिवार्य कर दिया है।
फर्जी वेबसाइट पर पुलिस ने नकेल कसना शुरू किया तो साइबर ठगों ने नया पैंतरा अपना लिया है। ठग अब खुद को आईआरसीटीसी का अधिकारी बताकर लोगों को फंसाने में लगे हैं। इसके लिए पहले सच्ची बात बताई जा रही है ताकि लोगों को यकीन हो सके।
बताया जा रहा है कि चारधाम के लिए टिकटों की बुकिंग फुल हो चुकी है। लेकिन, अब कंपनी अपने कोटे के टिकटों को बेचकर यात्रा करा सकती है। इसके लिए ठगों ने सोशल मीडिया पर हेली बुकिंग के नाम से इश्तिहार प्रसारित किए हैं। ठगों के इस जाल से लोगों को बचाया जा सके इसके लिए अमर उजाला ने इस इश्तिहार के नंबर पर कॉल कर सारी स्थिति जानी। जो बात निकलकर सामने आई उससे यही लगा कि जरा सी सावधानी हटी तो ठगी का शिकार आसानी से बना जा सकता है।
हेली टिकट के लिए फेसबुक पर एक पेज मिला था। यहां पर हेलीकॉप्टर की फोटो के साथ डिस्प्ले पिक्चर में श्रीकेदारनाथ धाम का फोटो भी लगा था। नीचे एक मोबाइल नंबर लिखा हुआ था। अमर उजाला की ओर से इस नंबर पर कॉल की गई तो दूसरी ओर से परिचय आईआरसीटीसी के अधिकारी के रूप में दिया गया। अमर उजाला के प्रतिनिधि को अब तक की सारी बातों का पता था। ऐसे में ठग को इन बातों की जानकारी दी गई। उसे यह समझते देर न लगी कि यह वह मछली नहीं है जो उनके जाल में फंस जाए। ऐसे में एकाएक उसने फोन काट दिया।
ज्यादातर प्रदेश के बाहर के लोग हो रहे शिकार
फर्जी रजिस्ट्रेशन हो या फिर हेली टिकट का फर्जीवाड़ा। सभी मामलों में ज्यादातर ठगी के शिकार प्रदेश के बाहर के ही लोग हो रहे हैं। इसका कारण है कि प्रचार-प्रसार में कमी। प्रदेश के बाहर के लोगों में अब भी केदारनाथ व अन्य धामों की व्यवस्था के बारे में कम ही जानकारी है। यही नहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं जो किसी तरह जुगाड़ करने के चक्कर में जाल में फंस रहे हैं।
बचाव के लिए क्या करें
-आईआरसीटीसी की अधिकारिक वेबसाइट पर सर्च करें।
-आईआरसीटीसी की वेबसाइट पर कोई भी मोबाइल नंबर नहीं है।
-फर्जी वेबसाइट पर मोबाइल नंबर लिखे होते हैं जो कि ठगों के होते हैं।
-सोशल मीडिया फेसबुक, एक्स, इंस्टाग्राम आदि पर कोई टिकट बुकिंग की व्यवस्था नहीं है।
-किसी भी नंबर के संदिग्ध होने पर तत्काल पुलिस को सूचित करें।
-साइबर वित्तीय हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करें।
एसटीएफ और साइबर पुलिस लगातार फर्जी वेबसाइट की निगरानी कर रही है। अपने फेसबुक और अन्य सोशल मीडिया हैंडल से भी लोगों को जागरूक किया जा रहा है। जो शिकायतें आ रही हैं उनकी भी जांच की जा रही है। इस साल अब तक 20 फर्जी वेबसाइट ब्लॉक की जा चुकी हैं। यदि कोई ठगी का शिकार होता है या आशंका है तो साइबर वित्तीय हेल्पलाइन पर मदद मांग सकता है। एसटीएफ की ओर से मोबाइल नंबर भी जारी किए गए हैं। – आयुष अग्रवाल, एसएसपी, एसटीएफ
भारत इन दिनों मौसम की मार झेल रहा है। भारत के उत्तरी इलाकों में जहां धूप और लू की मार है तो वहीं दक्षिण भारत के इलाकों में बारिश ने तबाही मचा रखी है। उत्तर भारत में मानसून के आने में अभी देरी है। मौसम विभाग ने उत्तर-पश्चिम भारत के लिए रेड अलर्ट तो केरल के कुछ जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया है।
केरल में प्री-मानसून गतिविधियों ने तबाही मचा दी है। केरल के कई जिलों में मध्यम से भारी बारिश हो रही है। केरल के सात जिलों के लिए मौसम विभाग ने यलो अलर्ट जारी किया है। अंडमान निकोबार में भारी बारिश की चेतावनी जारी की गई है।
केरल के इन सभी जिलों में 6 से 11cm बारिश का अलर्ट-
तिरुवनंतपुरम
कोल्लम
अलपुझा
एर्नाकुलम
कोझिकोड
कन्नूर
कासरगोड
केरल में अब तक 11 की मौत
केरल के कैबिनेट मंत्री के राजन ने बताया कि 9 से 23 मई तक राज्य में बारिश संबंधित गतिविधियों में 11 लोगों की मौत हो चुकी है। इसमें 6 लोग डूबने से, एक घर गिरने से तो वहीं दो लोग बिजली गिरने से मरे हैं। शनिवार को भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। मछुआरों को समंदर में ना उतरने के लिए चेतावनी दी गई है। लोगों से कहा गया है कि छुट्टियों के दौरान वे अपने बच्चों को तालाब या नदियों के पास ना जाने दें। उन्होंने बताया कि स्थानीय प्रशासन, दमकल, पुलिस और राजस्व विभाग आपातकाल के लिए अलर्ट पर हैं। एनडीआरएफ की दो टीमों भी तैनात हैं। शुक्रवार शाम तक राज्य में आठ राहत शिविर लगाए गए हैं।
उत्तर भारत को कब मिलेगी राहत
उत्तर भारत इन दिनों लू और गरमी से तप रहा है। लोग बेहाल हैं। आईएमडी ने उत्तर-पश्चिम भारत में अगले चार दिनों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। राजस्थान में तापमान शुक्रवार को उच्च स्तर पर था। वहीं, दिल्ली में तापमान में गिरावट दर्ज की गई है पर गर्मी अभी भी भीषण है।
मौसम विभाग का कहना है कि जम्मू-कश्मीर, पंजाब और हरियाणा में अभी लू की स्थिति रहेगी। चार दिनों तक यहां गर्म हवा चल सकती है। विभाग ने राजस्थान और गुजरात के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। पंजाब के लिए भी रेड अलर्ट जारी किया गया है। हिमाचल और जम्मू-कश्मीर के लिए भी अगले चार दिनों तक हीट वेव की चेतावनी जारी की गई है।
चारधाम यात्रा के दौरान अब तक 52 लोगों की मौत हो चुकी है। इनमें बदरीनाथ में 14, केदारनाथ में 23, गंगोत्री में 03 और यमुनोत्री में 12 श्रद्धालुओं की जान गई है। केदारनाथ में बीते 10 वर्ष में 350 यात्रियों की मौत हो चुकी है, जिसका प्रमुख कारण सीने में दर्द, बेचैनी और दिल का दौरा पड़ना रहा है।
बद्रीनाथ धाम की यात्रा पर आए केरल के एक श्रद्धालु की गुरुवार को हृदय गति रुकने से मौत हो गई। परिजनों ने विष्णुप्रयाग में ही अंतिम संस्कार करा दिया। अब तक बदरीनाथ धाम की यात्रा पर आए आठ श्रद्धालुओं की हृदय गति रुकने से मौत हो चुकी है।
हेमकुंड साहिब की यात्रा पर आए पंजाब के एक यात्री की मौत
केरल के तिरुवनंतपुरम से चार महिलाएं और दो पुरुष दर्शन करने के लिए बदरीनाथ आए हुए थे। बुधवार को अचानक श्रीनिवास (63) की हृदय गति रुकने से मौत हो गई। सीएमओ डॉ. राजीव शर्मा ने इसकी पुष्टि की है। इसके बाद परिजन शव को विष्णुप्रयाग लेकर आए, लेकिन उनके पास अंतिम संस्कार कराने के लिए कोई सामान नहीं था। इस पर उन्होंने नगर पालिका जोशीमठ से मदद मांगी। इस पर पालिका ने उन्हें सामग्री उपलब्ध करवाई, तब जाकर अंतिम संस्कार किया गया।
वहीं हेमकुंड साहिब की यात्रा पर आए पंजाब के एक यात्री की हृदय गति रुकने से मौत हो गई। हेमकुंड साहिब के कपाट 25 मई को खुलेंगे और पहला जत्था शुक्रवार को गोविंदघाट से घांघरिया के लिए रवाना होगा। कुछ श्रद्धालु पहले ही घांघरिया पहुंच रहे हैं। गोविंदघाट एसओ लक्ष्मी प्रसाद बिजल्वाण ने बताया, बृहस्पतिवार को गोविंदघाट से घांघरिया जा रहे यात्री जसविंदर सिंह (60) निवासी लुधियाना, पंजाब की भ्यूंडार के आगे राम ढुंगी के पास हृदय गति रुकने से मौत हो गई।